ईरान. ईरान की सुप्रीम कोर्ट ने एक महिला को आंख निकालने की सजा सुनाई है। महिला को यह सजा इस्लामिक शरिया कानून ‘आंख के बदले आंख’ के तहत सुनाई गई है। ईरान के सरकारी मीडिया ने यह जानकारी दी है।
आरोपी महिला ने लड़की के चेहरे पर फेंका था एसिड:
न्यूज एजेंसी ‘तनसिम’ की रिपोर्ट्स के मुताबिक आरोपी महिला ने 2011 में सिना नाम की एक लड़की के चेहरे पर एसिड फेंक दिया था।
जिससे सिना का पूरा चेहरा बुरी तरह झुलस गया था। इस दौरान उसकी एक आंख की रोशनी भी चली गई थी।
इसके बाद से ही आरोपी महिला पर केस चल रहा था। कोहजिलुयेह प्रोविंस के ज्युडिशियरी हेड माजिद करामी ने यह सजा सुनाई।
सजा सुनाते हुए माजिद ने कहा, “इस महिला का जुर्म बहुत संगीन है। इसके चलते एक महिला की जिंदगी बर्बाद हो गई। इसलिए इसे भी वैसी ही सजा मिलनी चाहिए।”
इसके साथ ही माजिद ने आरोपी महिला को ब्लड मनी का भुगतान करने और 7 साल जेल की सजा भी सुनाई है।
हालांकि आरोपी महिला का नाम और उसे सजा किस दिन दी जाएगी, इसका खुलासा नहीं किया गया है।
1979 से लागू है यह कानून:
ईरान के शरिया कानून के तहत वहां शारीरिक चोट के मामले में बदला लेने की इजाजत है।
यह कानून 1979 की इस्लामिक क्रांति के बाद से ईरान में लागू किया गया था।
कानून के तहत विक्टिम और उसके परिवार को ही सजा को लागू होने से रोकने का अधिकार है।
ईरान की सरकार और अधिकतर लोग देश में बढ़ रहे एसिड हमलों की घटनाओं से परेशान हैं।
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