लखनऊ। उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री और बसपा सुप्रीमों मायावती द्वारा लगाए गए आरोपों को बेबुनियाद करार देते हुए भाजपा ने रविवार को आरोप लगाया कि मायावती ने दलितों के नाम पर सिर्फ दौलत बटोरने का काम किया है और उत्तर प्रदेश में निश्चित हार और भ्रष्टाचार से अर्जित कालेधन की कमाई रद्दी में बदलते हुए देखकर बसपा प्रमुख हताशा में इस तरह की बातें कर रही हैं।
टिकटों को बेचना और धन-उगाही करना मायावती बन गया व्यवसाय
भाजपा के राष्ट्रीय सचिव श्रीकांत शर्मा ने कहा ने कि मायावती जी के हर संबोधन और भाषण में उनकी हताशा एवं निराशा स्पष्ट झलकती है, क्योंकि उनके पांव के नीचे से जमीन खिसक गई है। दलितों के नाम पर वोटों की राजनीति करके टिकटों को बेचना और धन-उगाही करना उनका व्यवसाय बन गया है। उनके भाई की आय से अधिक संपत्ति की जांच कांग्रेस की संप्रग सरकार के समय से ही चल रही है।
पहले देश के कानून का सम्मान करना सीखें मायावती
देश के प्रधानमंत्री पर अनर्गल आरोप लगाने के बजाय मायावती को पहले देश के कानून का सम्मान करना सीखना चाहिए। उन्हें कानून का सहयोग करना चाहिए। भाजपा नेता ने कहा, ‘‘यदि वे अथवा उनके परिवार के लोग निर्दोष हैं तो उन्हें डर नहीं होना चाहिए, लेकिन यदि वे गलत हैं तो कानून अपनी कार्रवाई करेगा।’
शर्मा ने आरोप लगाया कि मायावती बाबा साहब भीमराव अंबेडकर के नाम का सहारा लेकर अपनी सिखकती राजनीतिक जमीन को फिर से पाने का प्रयास कर रही हैं, लेकिन बाबा साहब के सिद्धांतों से माया का दूर दूर तक कोई संबंध नहीं है। उन्होंने कहा कि बाबा साहब को भारत रत्न सम्मान देने की पहल, संसद में उनका तैलचित्र लगाने सहित सच्चे अर्थो में उन्हें प्रतिष्ठित करने का काम भाजपा ने ही किया। मोदी सरकार की हर योजना गरीबों, शोषितों और समाज के निचले तबके को समर्पित है।
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