लखनऊ: उत्तर प्रदेश के मैदानी इलाकों में हाड़ कंपा देने वाली ठंड पड़ रही है और राजधानी लखनऊ में तापमान शून्य तक पहुंच गया है। कड़ाके की सर्दी और कोहरे के सितम से आम और खास सभी बेहाल हैं और जिंदगी में ठहराव सा आ गया है। घने कोहरे और सर्द हवा की वजह से लोगों को मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। उत्तर प्रदेश के कुछ हिस्सों में शुक्रवार से चल रही शीतलहर से नौ लोगों की मौत हो गई है। मौसम विभाग ने आगामी कुछ दिनों में मौसम के और सर्द रहने का अनुमान जताया है क्योंकि पारा और लुढ़कने वाला है।
तापमान में अभी और हो सकती है गिरावट
मौसम विभाग के मुताबिक, 19 जनवरी तक तापमान में गिरावट जारी रहेगी लेकिन इसके बाद मौसम की स्थिति में सुधार होगा। लखनऊ में तापमान सामान्य से सात डिग्री सेल्सियस नीचे रहा। यहां राज्य में सर्वाधिक ठंड पड़ रही है। यहां न्यूनतम तापमान 0.4 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया जो कई वर्षो का सबसे न्यूनतम तापमान है। क्षेत्रीय मौसम विभाग ने शीतलहर को ‘अप्रत्याशित’ करार दिया है। कुछ क्षेत्रों में तापमान शून्य से नीचे लुढ़क गया।
मरने वाले कन्नौज और कानपुर देहात के
कक्षा एक से आठवीं तक के सभी स्कूल 16 जनवरी तक के लिए बंद कर दिए गए। कानपुर और सुल्तानपुर जिलों में 1.6 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। क्षेत्रीय मौसम विभाग के निदेशक जे.पी.गुप्ता ने कहा कि साइबेरियाई क्षेत्र से चल रही हवाओं और पश्चिमी विक्षोभ की वजह से ठंड बढ़ी है। शीतलहर से मरने वाले लोगों की पहचान कर ली गई है। ये लोग कन्नौज और कानपुर देहात के हैं।
मौसम के बदलते रुख के चलते बाजार समेत सार्वजनिक स्थानों पर शुक्रवार को भी लोग कम ही दिखे। कामकाजी महिला-पुरुषों को छोड़कर अन्य लोग घरों में कैद रहे। जरूरतमंद लोग ही गर्म कपड़ों से खुद को ढककर बाहर निकले। मौसम विभाग के निदेशक जेपी गुप्ता ने शुक्रवार को यहां बताया पहाड़ों पर अगले कुछ दिनों में बर्फबारी की संभावना के मद्देनजर आगामी 15 दिनों तक शीतलहरी से राहत मिलने की कोई उम्मीद नहीं है। उन्होंने बताया कि तापमान में अभी और गिरावट हो सकती है। कुछ स्थानों में तापमान जमाव बिंदु तक भी जा सकता है।
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