लखनऊ। सत्ताधारी समाजवादी पार्टी में चल रही कलह ने एक दंगल का रूप धारण कर लिया है। बात बंटवारें तक पहुंच चुकी है। कल सपा सुप्रीमों मुलायम सिंह यादव ने अखिलेश यादव को को 6 साल के लिए पार्टी से निकाल दिया। जिसके बाद आज मुलायम और अखिलेश अपना शक्ति प्रदर्शन कर रहें हैं। अखिलेश यादव की बैठक भी शुरू भी हो चुकी है।
अखिलेश यादव के समर्थन में अबतक आये 198 विधायक
अखिलेश यादव समाजवादी पार्टी और साइकिल के साथ और उसके बाद के सभी विकल्प तलाश रहे हैं। राजनैतिक विशेषज्ञों के मुताबिक, अखिलेश के पास 6 रास्ते हैं।
1.सबसे पहले समाजवादी पार्टी के साथ साथ चुनाव चिन्ह पर कब्ज़ा।
2. पार्टी में झगड़ा बढ़ाकर साइकिल चुनाव चिन्ह को चुनाव आयोग में ज़ब्त कराया जाए।
3. अपनी अलग पार्टी का बनाकर साइकिल की प्रगति के साथ मोटर साइकिल को चुनाव चिन्ह पाने की कोशिश की जाए।
4. कांग्रेस का समर्थन लेकर अपने पक्ष में आये विधायकों के साथ सत्ता हासिल करें
कुल मिलाकर अखिलेश समाजवादी पार्टी और साइकिल के साथ और उसके बाद के सभी विकल्प तलाश रहे हैं, हालांकि सपा के कई वरिष्ठ नेता मुलायम से रामगोपाल यादव के खिलाफ बोलते हुए अखिलेश को माफ़ करने की वकालत कर रहे हैं। लेकिन अखिलेश यादव झुकने के लिए भी तैयार नहीं हैं। कल उन्होंने कहा था कि समाजवादी पार्टी उनकी है।
वहीँ अब बैठक भी शुरू हो चुकी है और अब तक 148 उनके समर्थन में शामिल हो चुके हैं। अब देखना है कि बाप-बेटे में चल रही उठापटक किस करवट बैठेगी।
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