देहरादून। मुख्यमंत्री हरीश रावत ने केंद्रीय वित्त मंत्री अरूण जेटली को पत्र लिखकर 1000 व 500 के नोटबंदी से राज्य के पर्यटन, कृषि व राजस्व पर पड़ रहे प्रतिकूल प्रभावों की जानकारी देते हुए राहत हेतु आवश्यक उपाय किए जाने का अनुरोध किया है। मुख्यमंत्री के मीडिया प्रभारी सुरेंद्र कुमार ने वित्त मंत्री को लिखे गए पत्र की जानकारी दी है। अपने पत्र में मुख्यमंत्री श्री रावत ने कहा कि काला धन के संबंध में विमुद्रीकरण एक अच्छा कदम है, परंतु इसके लिए तैयारियां भी उसी स्तर पर की जानी चाहिए थी। उत्तराखण्ड जैसे छोटे व अल्प संसाधनों वाले राज्यों पर इसका अधिक विपरीत असर पड़ रहा है।
पहले से ही 14 वें वित्त आयोग की संस्तुतियों से नुकसान में रहे उत्तराखण्ड पर नोटबंदी के कारण पर्यटन, राजस्व का नुकसान भारी पड़ रहा है। पर्वतीय राज्य जहां एक बड़ी आबादी सहकारी बैंकिंग सिस्टम पर निर्भर है, वहां सहकारी बैंकों पर पाबंदियों से जनजीवन व कृषि गतिविधियां भी प्रभावित होंगी।
मुख्यमंत्री ने केंद्रीय वित्त मंत्री को लिखा पत्र
राज्य के ग्रामीण व पर्वतीय क्षेत्रों में किसानों का बड़ा हिस्सा सहकारी बैंकों पर निर्भर है। बहुत से लोग ऐसे हैं जिनका खाता केवल सहकारी बैंकों में है। भारत सरकार ने सहकारी बैंकों द्वारा 500 व 1000 के पुराने नोट लेने पर रोक लगाई है। खरीफ की फसल के बाद जिन किसानों के पास नकदी थी, वे इस नकदी को अपने खाते में जमा नहीं कर पा रहे हैं।
रबी फसल की बुवाई का समय भी प्रारम्भ हो गया है। परंतु क्योंकि अधिकांश किसान सहकारी बैंकों से जुड़े हैं, रबी फसल के लिए बीज, उर्वरक व ऋण नहीं ले पा रहे हैं। इससे फसल के उत्पादन में गिरावट आना स्वाभाविक है। जिसका परिणाम भविष्य में खाद्य पदाथों की बढ़ती कीमतों के रूप में देखने को मिलेगा। इसलिए सहकारी बैंकों को 500 व 1000 के नोट स्वीकार किए जाने को तत्काल मंजूरी दी जानी चाहिए।
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