चीन में कर्जदार को अब कड़ी मुश्किलों का सामना करना पड़ेगा। चीनी सुप्रीम कोर्ट ने एक आदेश जारी कर ऐसे लोगों का लगभग सामाजिक बहिष्कार करने का आदेश दिया है। इसके तहत अब वहां कर्जदार न तो हवाई सफर कर पाएंगे और न ही उन्हें हाईस्पीड ट्रेनों में जगह मिलेगी। कोर्ट ने उनके पर्सनल आईडी नंबर भी ब्लॉक करने के आदेश दिए हैं। इससे कर्जदारों को तमाम नागरिक सुविधाओं का लाभ नहीं मिल पाएगा। चीन में ऐसे कर्जदारों की संख्या 70 लाख से ज्यादा है।
बैंकों और अन्य सरकारी संस्थाओं से कर्ज लेने के बाद उन्हें चुकता नहीं करने वाले लोगों की ब्लैक लिस्ट बनाई गई है। इसमें उनका नाम, पर्सनल आईडी समेत तमाम जानकारियां हैं। साल-2013 में जारी की गई यह ब्लैक लिस्ट कोई भी सुप्रीम कोर्ट की वेबसाइट पर देख सकता है। इस ब्लैक लिस्ट में कर्जदारों के अलावा आयकर चोरी करने वाले और अन्य तरह के आपराधिक कृत्य में शामिल होने वाले लोग भी हैं।
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि लोगों को आर्थिक छवि साफ-सुथरा बनाने पर ध्यान देना चाहिए। कर्ज का समय से भुगतान कर वह देश की उन्नति में भागीदारी करते हैं। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद देश के सभी बड़े बैंकों समेत कुल 44 संस्थानों ने एक सहमति पत्र पर हस्ताक्षर किए हैं। इसके तहत कर्जदारों पर कई तरह की पाबंदियां लगाई जाएंगी। हवाई और ट्रेन यात्राओं के अलावा होटलांे मंे रुकना या किराए पर कमरे लेना भी उनके लिए असंभव होगा।
चीन में कर्जदारों को सबक सिखाने के लिए पहले भी कड़े कदम उठाए गए हैं। इसकी शुरुआत पिछले साल शंघाई से हुई थी। तब वहां सबसे बड़े कर्जदारों का नाम उनकी तस्वीरों के साथ सार्वजनिक जगहों पर बड़े-बड़े बोर्ड पर प्रदर्शित किए गए थे। इसके अलावा सरकार ने कर्जदारों के बच्चों के प्राइवेट स्कूल में एडमिशन रोक दिए थे। इसके बाद बड़ी तादाद में लोगों ने कर्ज अदा कर दिया था। लेकिन एक साल बाद ही कर्जदारों की संख्या फिर बढ़ने लगी। बढ़ते मामलों को देखने के बाद ही सुप्रीम कोर्ट ने ताजा आदेश दिया है।
कहीं डील रद्द, किसी की शादी पर आफत:
एक अखबार के मुताबिक, एक युवक के पिता का नाम कर्जदारों की लिस्ट में आने से उसकी शादी ही मुश्किल में आ गई। मंगेतर ने कहा कि पिता का नाम ब्लैक लिस्ट में आने से सामाजिक प्रतिष्ठा धूमिल होगी। युवक ने पिता को कर्ज चुकाने के लिए मनाया और शादी बचाई। 19 लाख रुपए के कर्ज की वजह से एक बिजनेसमैन ब्लैक लिस्ट में आने के कारण हवाई जहाज मंे बोर्ड करने से रोक दिया गया। पार्टनर को पता चला तो उसने 2.92 करोड़ की डील रद्द कर दी।
Facebook
Twitter
Google+
RSS