बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने पार्टी के सभी विधायकों को एक चिट्ठी लिखी है जिसके साथ में आय-व्यय का ब्यौरा देने वाला एक फॉर्म भी दिया गया है। पार्टी अध्यक्ष की ओर से सभी विधायकों से कहा गया है कि अपने बैंक खातों और लेन-देन का पूरी जानकारी दें। यह चिट्ठी अमित शाह की ओर से 30 नवंबर को भेजी गई है जिसमें यह लिखा है कि नोटबंदी के फैसले के बाद से उन्होंने कितने रुपए कि पुरानी नोटों खाते में जमा किए हैं. सभी विधायकों को यह जानकारी 30 दिसंबर तक देनी है।
फॉर्म बिलकुल वैसा ही जैसा आयकर विभाग की ओर से दिया जाता है। अमित शाह की ओर से मिली चिट्ठी के बाद से सभी विधायक अब अपने बैंक खातों को डिटेल खंगालने में जुट गए हैं। प्रधानमंत्री की ओर से सांसदों और विधायकों को बैंक खाते की जानकारी देने के बाद से यूपी में बीजेपी के कुछ विधायकों में खलबली मच गई है. इनमें से कुथ बाहर से शामिल हुए हैं।
लेकिन अब राष्ट्रीय अध्यक्ष की ओर से जारी की गई चिट्ठी के बाद से माना जा रहा है कि बीजेपी न सिर्फ इश कदम से विपक्षियों का मुंह बंद करना चाहती है, बल्कि यह भी दिखाना चाहती है कि वह भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ाई में काफी गंभीर है। क्योंकि नोटंबदी के फैसले के दिन से विपक्षी पार्टियां लगातार इस बात का आरोप लगा रही हैं कि बीजेपी के नेताओं को इस फैसले के बारे में पहले से ही पता था और सारा काला धन पहले ही खपा दिया गया है।
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